Friday, September 12, 2008

भारत इसलिए एल ओ सी पार नहीं करता.

अभी एक ब्लॉग पर पोस्ट पढ़ी कि भारत एल ओ सी क्यों पार नहीं कर सकता जबकि अमेरिका में बुश अपनी फौज को बॉर्डर पार कर पाकिस्तान में घुसने कि आज्ञा दे सकते हैं, तो जहाँ तक मैं सोचता हूँ भारत एल ओ सी पार इसलिए नहीं कर सकता है क्योंकि बहुत सारे कारण हैं जो भारत को बॉर्डर पार कर के आतंक वादियों से लड़ने से रोकते हैं।

भारत एल ओ सी पार कर नहीं मार सकता क्योंकि :-

१- भारत गौतम और गाँधी का देश है जो अहिंसा में यकीन करता है।

२- एल ओ सी और दूसरी सीमायें अनपढ़ लोग या आतंकवादी पार करते हैं या वो जो दादागिरी दिखाते हैं वो। भारत एक शिक्षित, शान्ति प्रिय, और सभ्य देश है।

३- एल ओ सी पार करना कोई वक्तव्य देने जैसा नहीं है, एल ओ सी पार करने के लिए जिगर होना चाहिए।

४- एल ओ सी पार करके हमको क्या मिलेगा, १९४७, १९६५, १९७१ की लडाइयों में बॉर्डर पार करके हमने कौन सा तीर मार लिया।

५- एल ओ सी पार करने पर चुनाव के लिए कोई फायदा नहीं होगा, क्योंकि वहां कोई वोटर नहीं है तो वोटों के लिहाज़ से कोई फायदा नहीं होने वाला है।

६- एल ओ सी पार करते समय वहां कोई मीडिया वाला शायद नहीं पहुँच पाये तो टी वी, अख़बारों में ख़बर नहीं आयेगी और आपकी सारी मेंहनत ख़राब चली जायेगी।

७- एल ओ सी पार करने में कितना समय व्यर्थ होगा इतने में तो कितने धरने, प्रदर्शन, बंद करवाए जा सकते हैं।

अब आप ही बताइए कि एल ओ सी पार करके हमें क्या मिलेगा।

4 comments:

रंजन राजन said...

बढ़िया लिखा है।
एक लाइन सही नहीं है.. (एल ओ सी पार करना कोई वक्तव्य देने जैसा नहीं है, एल ओ सी पार करने के लिए जिगर होना चाहिए।)...
भारत के पास जिगर है, लेकिन भारतीय जीओ और जीने दो में यकीन करते हैं।

Deepak M. said...

विचार व्यक्त करने के लिए धन्यवाद।

मेरा आशय ये नहीं है की भारत के पास जिगर नहीं है, भारत के पास वो ताकत है की वो दुश्मन के घर में घुस कर उसे ढेर कर सकता है। पर मेरा आशय हमारे नीति निर्माताओं से था। जिन्हें 'कड़े कदम उठाएंगे', 'आप अपनी सीमाओं में रहें', 'हमारे धैर्य की परीक्षा न लें' जैसे तीन चार वक्तव्यों के सिवा कुछ नहीं आता।

उम्मीद है की अब शायद आप मेरी बात से सहमत होंगे।

Anonymous said...

दीपक जी,
पहले तो आपको धन्यवाद कि आपने मेरे आलेख पर कमेन्ट भेजा और साथ ही अपने ब्लॉग पर विस्तार से अपने विचार व्यक्त किए... पर आपसे मैं पुन: आग्रह करूँगा कि आप दोबारा मेरा आलेख पढ़े,,, भारतीय रीति-नीति और संस्कार से मैं अनभिज्ञ नहीं हूँ....पर जब रीति-नीति और संस्कार से धर्म की हानि होने लगे तो बुराई को परास्त करने के लिए धर्म शास्त्र भी हमें कुछ पल के लिए छल करने की अनुमति देता है...जैसा श्री कृष्ण ने महाभारत में किया...इसलिए कृपा करके मेरा आलेख दोबारा पढ़े जिसमे मैंने आतंकवाद रूपी बुराई से लड़ने की बात की है, क्योकि इससे लगातार हमारे राष्ट्र धर्म की हानि हो रही है.
उदय केसरी

Smart Indian said...

बिल्कुल सही कहा. अगर सैनिकों ने पार कर भी ली तो कोई नेता ताशकंद जाकर वापस दान कर आयेगा.